उच्छिख उज्कू 3 समकता हुआ । [ करना । | उच्छिख (वि० ) ३ चुटियादार । २ अग्निशिखायुक्त उच्सनम् ( न० ) १ सॉल जेना | श्राह भरना । उसित (३० कृ० ) : आह भरता हुआ सांस लेता हुआ | २ तरोताज़ा | २ पूरा फूला हुआ। खुला हुआ। १ विश्राम लिये हुए। सानियत । उसितम् (म०) १ स्वांस | आवायु । २ प्रफुक्षता सांस से फुलानग ३ स्वांस भीतर खींचनः । कुमार उठाना (छाठी का) फुलाव सिसकता। अदित्तिः (स्त्री०) नाश । सुलोच्छेदन | जड़ से नाश उच्चिन (व० कृ०) १ सुलोच्छेद किया हुआ | २ नष्ट किया हुआ नीच हीन । [महान् । 1 1 उच्चिरस् (वि० ) १ गर्दन उठाये हुए | २ कुलीन । उच्चिन | ( वि० ) कुकुरमुतों से परिपूर्ण उच्छिन्त्रम् } ( स० ) कुकुरमुता । 1 उच्छिष्ट (व० ० ) बचा हुआ । जुठा | छूटा हुआ। २ अस्वीकृत किया हुआ । त्यागा हुआ। ३ यासा | तिवासा 1-मोदनम् (२०) मॉम | उच्च (न० ) जूठन । उीर्षक ( पु० ) १ तकिया | २ सिर । उच्छुक (वि० ) सूखा हुआ। मुरझाया हुआ। उच्छून (वि० ) फूला हुआ | सूचा हुआ | २ मोटा ऊँचा महान् । अत (वि०) १ बेलगाम का । जो वश या काबू में न हो। धसंगत। असंगमी २ स्वेन्द्राधारी । ३ डॉवाडोल | १३ उच्छेदः १ उखाचपुखाड़ १२ खण्डन । नाय ३ नश्तर लगाने २ शरीर व्यापी पांच प्राणवायु । उपवासः १ ऊपर को सींची हुई स्वांस | २ सांस | "आइ ३ सान्त्वना | ढॉइस उत्साह ५ वायुरन्भ। ५ ग्रन्थ का प्रकरण विभाग। उच्छा ( म० ) सुखाव। कुम्हलाद मुरझाव । उच्य ? (पु०) किसी ग्रह का उदय २ उठान उच्छ्रीयः) (इमारत का) खड़ा करना । ३ उँचाई | उठान | ४ बाढ़ । उच्चति सघनता । २ अभि मान घमंड उच्चासिन् (वि० ) १ सांस लेते हुए । २ उसांस हुए भरते हुए। ३ प्रदश्य होते हुए । कुम्हलाते हुए । उछ ( धा०प० ) १ बांधना २ समाप्त करना । स्याग देना छोड़ देना। उज्जयिनी । उज्ज्यनी । ( स्त्री० ) उज्जैन नगरी। उज्जासनम् ( न० ) मार दालना। मारण। घात । उज्जिद्दान ( वि० ) १ उठना । उदय होना | २ प्रस्थान | विदाई | ( पु० ) ) म् ( म० ) की क्रिया। उच्छेषः (पु० ) उच्छेषाम् ( न० }} अवशिष्ट बचा हुआ। शेष| उज्ज़'भा ( श्री० ) उच्छषण (वि०) १ सुखाने वाला। कुम्हलाने वाला । | उज्जैम्भा ( स्त्री० ) २ जलन करने वाला। उर्जा, उज्जृंभ उज्अं भः उज्ज़म्भः ) ( वि० ) १ फुलाया हुआ | बढ़ाया 5 हुआ। २ खुला हुआ | (पु० ) १ खिलना । फूलना। विकास । २ विवाह जुदाई | 3 जमुहाई २ उदारन ३ फैलाव बढ़ती। 1 उउभगम् ( न० ) उज्याम् (न० ). उज्ज्य (वि० ) खुली हुई डोरी का धनुष रखने वाला। उज्ज्वल ( चि० ) १ चमकीला चमकदार आभा वाला सफेइ २ मनोहर सुन्दर फूला हुआ। बढ़ा हुआ ४ असंयमी । उज्ज्वलः ( पु० ) प्रेम । अनुराग उच्यणम् (१०) उठाव ऊँचाई। उच्छ्रित ( च कृ० ) १ उठा हुआ। ऊचा किया हुआ | उज्ज्वलम् ( न० ) सुवर्थ | सोना । २ ऊपर गया हुआ। उदित ३ ऊचाई। लंबा | उज्ज्वलनम् (न० ) प्रदीप्त चमकीला बड़ा उतिभूत ४ उत्पन्न किया हुआ । उत्पन्न हुआ | २ समृद्धशाली। उसत बढ़ा हुआ | ६ अभिमानी । [कान्ति | चमक | उज् ( धा० प० ) [ उज्भति, उति ] १ त्यागना । छोड़ना | २ वचा जाना निकल भागना । ३ बाहिर निकालना। निकाल डालना।
पृष्ठम्:संस्कृत-हिन्दी शब्दकोशः (चतुर्वेदी).djvu/१६३
एतत् पृष्ठम् अपरिष्कृतम् अस्ति