स्वच्छ विशुद्ध खड़िया मिट्टी ।—मणिः, (५०) फटिक पत्थर | बिल्लौरी पत्थर | ( १६५ ) स्वच् ( न० ) मोती | मुक्ता । स्वच्छ : ( पु० ) बिल्हौरी पत्थर | स्वनिक ( वि० ) शब्द करने वाला । स्वंज] ) ( धा०] [था० ) [ स्वंजते ] आलिङ्गन करना । | स्वनित (वि० ) शददायमान। शोर करने वाला । स्वञ्जु । छाती लगाना। २ घेर लेना । घेरे में कर लेना कोलाहलकारी । उमेठना | मरोड़ना | स्वठ् (घा० उ० ) [ स्वठयति, स्वाठयति स्वठयते, स्वाठयते ] १ जाना होना। २ समाप्त करना । पूरा स्वतस (अन्य ) अपना | अपने का | स्वत्वं ( न० ) १ म अन्तित्व | २ मालिकाना । अधिकार स्वामित्व स्वद] ( वा० ० ) [ ससदने, स्वदिन ] स्वादिष्ट लगना। जायकेदार मालूम होना भाना पसंद ! श्रमः । स्वदनं ( न० ) चखना । खाना । स्वदित ( व० कृ० ) चाखा हुआ खाया हुआ | स्वदितं ( न० ) वाक्य विशेष जिसका प्रयोग आह कर्म में किया जाता है और जिसका अभिप्राय है कि यह पदार्थ आपको स्वादिष्ट लगे। स्वथा ( श्री० ) १ स्वतः प्रवृत्ति । स्वयंसिद्धता । स्वाभाविक चाळल्य २ निजू रूप या हड़ विचार । मृत पुरुषों के उद्देश्य से हवि आदि का देना। ३ पितारों को भोजनादि निवेदन करना ४ भोज्य पदार्थ या नैवेद्य 4 माया था सांसारिक प्रपञ्च (अव्यया० ) पितरों का सम्बोधन विशेष जो नैवेय निवेदन करते समय उच्चारित किया जाता है। यथा -" पितृभ्यः स्वधा ॥ "कारः, ( पु० ) स्वधा शब्द का उच्चारण । – त्रियः, ( पु० ) अग्नि । श्राग- भुज् (पु० ) १ मरे हुए पूर्वपुरुष | २ देवता | स्वधिति ( पु० ० }} कुल्हाड़ी । स्वधिती ( श्री० ) स्वयम् स्वनः ( पु० ) ध्वनि । अवाज़ । कोलाहल 1- उत्साह (पु० ) गैंड़ा। स्वनि: ( पु० ) शोरगुल स्वन् ( धा०प० ) [ स्वनति ] 2 शब्द करना | शोरगुल करना।२ गाना | स्वनितं ( न० ) गड़गढ़हाट का शोर । स्वप् ( धा०] प० ) [ स्वपिति, सुप्त ] सोना | २ लेटना आराम करना ३ ध्यानमग्न होना । स्वप्नः ( पु० ) १ निना नींद | २ स्वप्न सपना | ख्वाब । ३ फाहिली । सुस्ती । श्रौंघाई - अवस्था ( श्री० ) सपना देखने की हालत। -- उपम, ( वि० ) १ सपने के सदृश । २ सपने की तरह मिथ्या – कर, कृत् (वि० ) नींद लाने बाला। निद्राजनक - गृहं, निकेतनं, (न० ) सोने का कमरा शयनगृह-दोपः (०) सोते में इच्छा न रहते भी वीर्यपात होना - धीगम्य, (वि० ) सोने जैसी दशा मन की होने पर जानने योग्य - प्रपञ्चः, ( पु० ) स्वम सदृश मिथ्या संसार ।- विचारः, ( पु० ) स्वप्न के शुभाशुभ फल पर विचार | - शील ( वि० } निद्राद्ध | आँघासा | स्वभज् (वि० ) निदासा निद्रालु । । स्वयम् (अध्यया० ) अपने आप अपनी इच्छा से -अर्जित (वि० ) अपनी पैदा की हुई । - उक्तिः, (स्बी० ) १ अपने श्राप दिया हुआ बयान | २ सूचना | इत्तिला बयान ग्रहः, ( पु० ) विना परवानगी लेना-प्राइ, (वि०) अपने आप पसंद किया हुआ। स्वेच्छा प्रसूत । स्वेच्छाधीन |-जान, (वि०) अपने श्राप उत्पन्न | -सूत (वि० ) अपने श्राप दिया हुआ /- दत्तः, (पु० ) वह बालक जो दत्तक होने के लिये अपने आप दूसरे को दे दें । -भुः, (पु० ) ब्रह्मा का नामान्तर । -भुवः, ( पु० ) प्रथम मनु । २ ब्रह्मा का नामान्तर । ३ शिव का नाम 1 - भू. ( वि० ) अपने आप उत्पन्न | भूः ( पु० ) १ ब्रह्मा | २ विष्णु | इ शिव । ४ काल जो मूर्तिमान
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