९५८
कौमुदीपूर्वार्धगतसूत्रसूचिकाः ।
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सूत्रम् |
पार्श्वम्
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२०९४ |
अतिथेर्ञ्यः (५-४-२६) |
९३३
|
५५६ |
अतिरतिक्रमणे च (१-४.९५) |
४१८
|
२००१ |
अतिशायने तम० (५-३.५५) |
९०३
|
७९८ |
अतेः शुनः (५-४-९६) |
५३९
|
१९१ |
अतो गुणे (६-१-९७) |
११६
|
२०३ |
अतो भिस ऐस् (७-१-९) |
१२२
|
३०९ |
अतोऽम् (७-१-२४) |
२०७
|
१६३ |
अतो रोरप्लुता० (६-१-११३) |
९९
|
६९१ |
अत्यन्तसंयोगेच (२-१-२९) |
४८९
|
१३६ |
अत्रानुनासिकः पू० (८-३-२) |
८६
|
११४७ |
अत्रिभृगुकुत्सव० (२-४-६५) |
६९३
|
४२५ |
अत्वसन्तस्य चा०(६-४-१४) |
२८७
|
५३ |
अदर्शनं लोपः (१-१-६०) |
४०
|
४३७ |
अदस औ सु० (७-२-१०७) |
३००
|
१०१ |
अदसो मात् (१--१-१२ ) |
७१
|
४१९ |
अदसोऽसेर्दादु० (८-२-८०) |
२८२
|
१२८२ |
अदूरभवश्व (४-२-७०) |
७३२
|
१७ |
अदेड्गुणः (१-१-२) |
२०
|
७७१ |
अदोऽनुपदेशे (१-४-७० ) |
५२७
|
३१५ |
अद्डुतरादिभ्यः० (७-१-२५) |
२०९
|
१८१४ |
अद्यश्धीनावष्टब्धे (५-२-१३) |
८५८
|
१६१ |
अधःशिरसी पदे (८-३-४७) |
९८
|
१८७३ |
अधिकम् (५-२-७३) |
८७२
|
६२६ |
अधिकरणवाचिनश्च (२-३-६८) |
४५५
|
७०७ |
अधिकरणवाचिना०(२-२-१३) |
४९९
|
१९८९ |
अधिकरणविचाले० (५-३-४३) |
९००
|
९१९ |
अधिकरणैतावत्वे० (२-४-१५) |
६०२
|
१४६७ |
अधिकृत्य कृते० (४-३-८७) |
७७३
|
५५४ |
अधिपरी अनर्थकौ (१-४-९३) |
४१७
|
६४४ |
अधिरीश्वरे (१-४-९७) |
४६५
|
५४२ |
अधिशीङ्स्थासां० (१-४-४६) |
४१२
|
६१३ |
अधीगर्थदयेशां० (२-३-५२) |
४४८
|
१९६६ |
अधुना (५-३-१७) |
८९५
|
९०९ |
अध्ययनतो० (२-४-५ ) |
५९६
|
१६९३ |
अध्यर्धपूर्वद्विगो० (५-१-२८) |
८२३
|
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सूत्रम् |
पार्श्वम्
|
१८६० |
अध्यायानुवाकयोः०(५-२-६०) |
८६९
|
१६२२ |
अध्यायिन्यदेशका०(४-४-७१) |
८०६
|
१४४८ |
अध्यायेष्वेवर्षेः (४-३-६९) ७७० |
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१८१७ |
अध्वनो यत्खौ (५-२-१६) |
८५८
|
९०८ |
अध्वर्युक्रतुरनपुंसकम्(२-४-४) |
५९५
|
११५५ |
अन् (६-४-१६७) |
६९४
|
४६२ |
अन उपधालोपिनो०(४-१-२८) |
३४४
|
२४८ |
अनङ् सौ (७-१-९३) |
१५३
|
४८ |
अनचि च (८-४-४७) |
३५
|
२०७६ |
अनत्यन्तगतौ क्तात् (५-४-४) |
९२७
|
७७६ |
अनत्याधान उरसि०(१-४-७५) |
५२८
|
१९६९ |
अनद्यतनेर्हिल० (५-३-२१) |
८९६
|
२०९१ |
अनन्तावसथेतिह० (५-४-२३) |
९३२
|
५३६ |
अनभिहिते (२-३-१) |
४०१
|
६७८ |
अनश्च (५-४-१०८) |
४८५
|
३४६ |
अनाप्यकः (७-२-११२) |
२३३
|
४१५ |
अनिदितां हल उप०(६-४-२४) |
२८०
|
२०३१ |
अनुकम्पायाम् (५-३-७६) |
९१२
|
७६३ |
अनुकरणं चा० (१-४-६२) |
५२५
|
१८७४ |
अनुकाभिकाभीक:०(५-२-७४) |
८७२
|
९५१ |
अनुगवमायामे (५-४-८३) |
६२२
|
२०८३ |
अनुगादिनष्ठक् (५-४-१३) |
९३०
|
१८१६ |
अनुग्वलङ्गामी (५-२-१५) |
८५८
|
४०३ |
अनुदात्तं सर्व० (८-१-१८) |
२७३
|
१२५ |
अनुदात्तादेरञ् (४-२-४४) |
७२२
|
१५२० |
अनुदात्तादेश्च (४-३-१४०) |
७८६
|
१३७ |
अनुनासिकात्परोऽनु०(८-३-४) |
८६
|
१८१० |
अनुपदसर्वान्ना० (५-२-९) |
८५६
|
१८९० |
अनुपद्यन्वेष्टा (५-२-९०) |
८७५
|
४६९ |
अनुपसजेनातू (४-१-१४) |
३५३
|
५७९ |
अनुप्रतिगृणश्च (१-४-४१) |
४३०
|
१७७४ |
अनुप्रवचनादि० (५-१-१११) |
८४५
|
१२७२ |
अनुब्राह्मणादिनिः (४-२-६२) |
७२८
|
६६९ |
अनुर्यत्समया (२-१-१५) |
४८०
|
५४७ |
अनुर्लक्षणे (१-४-८४) |
४१४
|
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