"रामायणम्/अरण्यकाण्डम्/सर्गः २०" इत्यस्य संस्करणे भेदः

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{{Ramayana|अरण्यकाण्ड}}
| title = [[../]]
 
| author = वाल्मीकिः
'''श्रीमद्वाल्मीकियरामायणे अरण्यकाण्डे विंशः सर्गः ॥३-२०॥'''
| translator =
 
| section = अरण्यकाण्डम्
| previous = [[रामायणम्/अरण्यकाण्डम्/सर्गः १९|सर्गः १९]]
| next = [[रामायणम्/अरण्यकाण्डम्/सर्गः २१|सर्गः २१]]
| notes =
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{{रामायणम्/अरण्यकाण्डम्}}
<div class="verse">
<pre>
 
'''श्रीमद्वाल्मीकियरामायणे अरण्यकाण्डे विंशःपञ्चदशः सर्गः ॥३-२०॥१५॥'''
ततः शूर्पणखा घोरा राघव आश्रमम् आगता ।
रक्षसान् आचचक्षे तौ भ्रातरौ सह सीतया ॥३-२०-१॥
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'''इति वाल्मीकि रामायणे आदि काव्ये अरण्यकाण्डे विंशः सर्गः ॥३-२०॥'''
==संबंधित कड़ियाँ==
*[[रामायण]]
**[[रामायण बालकाण्ड]]
**[[रामायण अयोध्याकाण्ड]]
**[[रामायण अरण्यकाण्ड]]
**[[रामायण किष्किन्धाकाण्ड]]
**[[रामायण सुंदरकाण्ड]]
**[[रामायण युद्धकाण्ड]]
**[[रामायण उत्तरकाण्ड]]
==बाहरी कडियाँ==
[[वर्गः:काव्य]]
[[वर्गः:Hinduism]]